हरदोई, लक्ष्मीकान्त पाठक (वेब वार्ता)। हरदोई के कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में बुधवार को जिलाधिकारी की अध्यक्षता में एकीकृत बागवानी विकास मिशन और अनुसूचित जाति/जनजाति कृषकों हेतु औद्यानिक विकास योजना (राज्य सेक्टर) की समीक्षा बैठक आयोजित हुई। इस दौरान जिलाधिकारी ने अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए कि किसानों को योजनाओं का लाभ समय पर उपलब्ध कराया जाए और वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए निर्धारित लक्ष्यों को हर हाल में पूरा किया जाए। बैठक में विभिन्न फसलों, फूलों की खेती, शाकभाजी, मसाला फसलों, जैविक खेती, और मौनपालन जैसे कार्यक्रमों के लिए लक्ष्य तय किए गए।
विभिन्न फसलों के लिए निर्धारित लक्ष्य
जिला उद्यान अधिकारी ने बैठक में बताया कि उद्यान रोपण कार्यक्रम के तहत निम्नलिखित लक्ष्य निर्धारित किए गए हैं:
आम और अमरूद: प्रथम वर्ष के लिए 4-4 हेक्टेयर
केला: 40 हेक्टेयर
पपीता: 3 हेक्टेयर
स्ट्रॉबेरी: 3 हेक्टेयर
ड्रैगन फ्रूट: 1 हेक्टेयर
बेल: 2 हेक्टेयर
करौंदा: 5 हेक्टेयर
आवला: 3 हेक्टेयर
सिंघाड़ा: 2 हेक्टेयर
इसके अतिरिक्त, फूलों की खेती (ग्लेडियोलस, रजनीगंधा, जरबेरा), शाकभाजी विस्तार, मसाला फसलें, जैविक खेती, मौनपालन, और बागवानी मशीनीकरण के लिए भी लक्ष्य निर्धारित किए गए हैं। इन योजनाओं का उद्देश्य हरदोई के किसानों को आर्थिक रूप से सशक्त बनाना और बागवानी क्षेत्र में उत्पादकता बढ़ाना है।
पंजीकरण की स्थिति: 424 किसानों ने कराया रजिस्ट्रेशन
बैठक में जानकारी दी गई कि एकीकृत बागवानी मिशन के तहत अब तक 424 किसानों और राज्य सेक्टर योजना में 24 किसानों ने पंजीकरण कराया है। समिति ने निर्णय लिया कि पात्र किसानों का चयन प्रथम आवक, प्रथम पावक (First Come, First Serve) के आधार पर किया जाएगा। चयनित किसानों को डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर (DBT) के माध्यम से अनुदान प्रदान किया जाएगा।
डीएम के सख्त निर्देश: समय पर लाभ और लक्ष्य पूर्ति
जिलाधिकारी ने अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए कि:
योजनाओं की जानकारी किसानों तक तेजी से पहुंचाई जाए।
पंजीकरण प्रक्रिया में किसी भी किसान को असुविधा न हो।
सभी पात्र किसानों को समय पर अनुदान उपलब्ध कराया जाए।
लक्ष्य पूर्ति के लिए निरंतर निगरानी रखी जाए और किसी भी स्तर पर लापरवाही न बरती जाए।
डीएम ने कहा, “किसानों का कल्याण हमारी प्राथमिकता है। योजनाओं का लाभ समय पर और पारदर्शी तरीके से किसानों तक पहुंचना चाहिए। लक्ष्यों को हर हाल में पूरा किया जाए।”
पंजीकरण की अनिवार्य प्रक्रिया
किसानों को योजनाओं का लाभ प्राप्त करने के लिए निम्नलिखित प्रक्रिया का पालन करना अनिवार्य है:
ऑनलाइन पंजीकरण: किसानों को विभागीय DBT पोर्टल पर ऑनलाइन पंजीकरण कराना होगा।
दस्तावेज जमा: पंजीकरण के बाद एक सप्ताह के भीतर आधार कार्ड, बैंक पासबुक, खसरा/खतौनी, फोटो, आवेदन फॉर्म, और शपथ पत्र कार्यालय में जमा करना होगा।
चयन प्रक्रिया: पात्रता की जांच के बाद चयनित किसानों को योजनाओं का लाभ दिया जाएगा।
जिलाधिकारी ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि पंजीकरण प्रक्रिया को सरल और पारदर्शी बनाया जाए ताकि अधिक से अधिक किसान इसका लाभ उठा सकें।
योजनाओं का महत्व
एकीकृत बागवानी विकास मिशन और अनुसूचित जाति/जनजाति कृषकों हेतु औद्यानिक विकास योजना का उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों में बागवानी को बढ़ावा देना, किसानों की आय बढ़ाना, और आधुनिक कृषि तकनीकों को अपनाने के लिए प्रोत्साहित करना है। इन योजनाओं के तहत किसानों को अनुदान, प्रशिक्षण, और मशीनीकरण के लिए सहायता प्रदान की जाती है। विशेष रूप से अनुसूचित जाति/जनजाति समुदाय के किसानों के लिए यह योजना सामाजिक और आर्थिक सशक्तिकरण का एक महत्वपूर्ण माध्यम है।
निष्कर्ष
हरदोई में आयोजित इस समीक्षा बैठक ने एकीकृत बागवानी विकास मिशन और राज्य सेक्टर योजना के तहत किसानों के कल्याण के लिए प्रशासन की प्रतिबद्धता को दर्शाया। जिलाधिकारी के सख्त निर्देशों और निर्धारित लक्ष्यों के साथ, यह उम्मीद की जाती है कि वित्तीय वर्ष 2025-26 में बागवानी क्षेत्र में उल्लेखनीय प्रगति होगी। किसानों से अपील है कि वे समय पर पंजीकरण कर इन योजनाओं का लाभ उठाएं और अपने आर्थिक विकास में योगदान दें।