जगदलपुर, (वेब वार्ता)। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री CM विष्णुदेव साय ने बस्तर में 210 माओवादी कैडरों के आत्मसमर्पण को राज्य और देश के लिए ऐतिहासिक क्षण बताया। उन्होंने कहा, “जो युवा कभी माओवाद के झूठे विचारधारा के जाल में फंसे थे, उन्होंने आज संविधान, लोकतंत्र और विकास की मुख्यधारा में लौटने का संकल्प लिया है। बंदूक छोड़ संविधान अपनाने वालों का दिल से स्वागत है।”
मुख्यमंत्री ने कहा, “यह दिन केवल बस्तर ही नहीं, बल्कि पूरे छत्तीसगढ़ और देश के लिए ऐतिहासिक है। जिन युवाओं ने वर्षों तक अंधेरी राहों पर भटककर हिंसा का मार्ग चुना, उन्होंने आज अपने कंधों से बंदूक उतारकर संविधान को थामा है। यह न केवल आत्मसमर्पण का क्षण है, बल्कि विश्वास, परिवर्तन और नये जीवन की शुरुआत है।”
हाथों में उसके हिंदोस्ता का संविधान है…#NavaBastar pic.twitter.com/v7pPHB8XFf
— Vishnu Deo Sai (@vishnudsai) October 19, 2025
CM विष्णुदेव साय की भावुक मुलाकात: “सबसे संतोषजनक पल”
मुख्यमंत्री ने कहा, “बस्तर में बंदूकें छोड़कर सुशासन पर विश्वास जताने वाले इन युवाओं से मेरी मुलाकात मेरे जीवन के सबसे भावनात्मक और संतोष देने वाले पलों में से एक रही। यह दृश्य इस बात का प्रमाण है कि बदलाव नीतियों और विश्वास से आता है।”
उन्होंने नक्सल पुनर्वास नीति 2025, “नियद नेल्लानार योजना” और “पूना मारगेम – पुनर्वास से पुनर्जीवन” जैसी योजनाओं का श्रेय दिया। “इन्हीं नीतियों के प्रभाव से नक्सल प्रभावित इलाकों में बंदूक छोड़कर लोग शासन की विश्वास और विकास की प्रतिज्ञा को स्वीकार कर रहे हैं। यह छत्तीसगढ़ के शांतिपूर्ण भविष्य का शिलान्यास है।”
डबल इंजन सरकार का संकल्प: “छत्तीसगढ़ माओवादीमुक्त बनेगा”
मुख्यमंत्री ने कहा, “डबल इंजन सरकार की प्रतिज्ञा है कि छत्तीसगढ़ को नक्सलवाद से पूर्णतः मुक्त किया जाए। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के मार्गदर्शन और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह जी के नेतृत्व में यह प्रतिज्ञा पूर्ण हो रही है। छत्तीसगढ़ अब शांति, विश्वास और विकास के नए युग की ओर अग्रसर है। हमारी सरकार आत्मसमर्पितों के पुनर्वास और उनके उज्ज्वल भविष्य के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है।”
210 कैडरों का आत्मसमर्पण: 153 हथियार जमा
17 अक्टूबर को जगदलपुर पुलिस लाइन में 210 कैडरों ने आत्मसमर्पण किया। इसमें एक सेंट्रल कमेटी सदस्य, चार DKSZC सदस्य, 21 डिविजनल कमेटी सदस्य सहित वरिष्ठ नेता शामिल हैं। उन्होंने AK-47, SLR, INSAS राइफल, LMG जैसे 153 हथियार जमा किए।
प्रमुख आत्मसमर्पित कैडर:
रूपेश उर्फ सतीश: सेंट्रल कमेटी सदस्य।
भास्कर उर्फ राजमन मांडवी: DKSZC सदस्य।
रनीता, राजू सलाम, धन्नू वेत्ती उर्फ संतू: DKSZC सदस्य।
रतन एलम: RCM।
पारंपरिक मांझी-चालकी विधि से स्वागत किया गया। संविधान की प्रति और लाल गुलाब भेंट कर सम्मानित किया गया।
PM मोदी की सराहना: “बस्तर में खुशियों की दिवाली”
PM मोदी ने कहा, “बस्तर कभी माओवादी आतंक का गढ़ था, लेकिन आज बस्तर ओलंपिक में लाखों युवा खेल रहे हैं। यह शांति का संकेत है। इस बार माओवादीमुक्त बस्तर में दिवाली की रौनक कुछ और होगी।”