रुड़की/देहरादून, 13 अप्रैल (वेब वार्ता)। कांग्रेस की महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने शनिवार को कहा कि देश को बनाने वाले आप लोग हैं, जिसे आप चुनने वाले हैं उसे सोच समझ कर चुनिए। श्रीमती वाड्रा ने लोकसभा चुनाव के प्रथम चरण में, उत्तराखंड में आगामी 19 अप्रैल को होने वाले मतदान से पहले शनिवार को हरिद्वार के रुड़की में पार्टी प्रत्याशी वीरेंद्र रावत के लिए वोट मांगे। उन्होंने जनसभा में कहा कि देश को बनाने वाले आप लोग हैं, जिसे आप चुनने वाले हैं उसे सोच समझ कर चुनिए।
श्रीमती वाड्रा ने कहा कि मैं भारतीय जनता पार्टी नेताओं के भाषण भी सुनती हूं। राजनीतिक दलों के नेताओं के भाषण सुनती हूं। इनमें आपका ध्यान को भटकाने वाली बातें ज्यादा होती हैं। उन्होंने कहा कि यह चुनाव आपका भविष्य तय करने जा रहा है। उन्होंने कहा कि काम का समय होता है तो हिसाब लेने का भी समय होता है। हम सभी को समझना चाहिए। उन्होंने कहा कि आप अपने मुद्दों को सर्वोपरि रखें। आपके क्या मुद्दे हैं आपके क्या मुश्किलें हैं आपका क्या संघर्ष है, उनका क्या समाधान है, कौन आपका मुद्दों पर बात कर रहा है? ठीक समझ कर वोट करिए। उन्होंने जनता से पूछा कि आज का सबसे बड़ा मुद्दा क्या है? बेरोजगारी का या महंगाई का। लोगों ने कहां बेरोजगारी का।
गंगा जी को प्रणाम करते हुए, हर-हर गंगे का जयघोष करने के बाद शुरू किए अपने संबोधन में श्रीमती प्रियंका ने कहा कि आज देश में सबसे ज्यादा महंगाई की मार है। मोदी जी रोजगार की बात करते हैं। मोदी जी सेना की बात करते हैं। जवानों की बात करते हैं। पिछले 10 सालों में सबसे ज्यादा बेरोजगारी बढ़ी है। उन्होंने कहा कि आईआईटी के युवाओं को रोजगार नहीं मिल रहा है। सरकारी बड़े-बड़े कारखाने से रोजगार आते थे। छोटे, मीडियम दुकानदार और व्यापारियों से रोजगार आते थे। खेती किसानी से रोजगार आते थे। इस सरकार ने क्या किया, जो बड़े-बड़े कारखाने थे, जिससे तमाम रोजगार मिलते थे, उन्होंने कारखानों को बड़े-बड़े उद्योगपतियों को सौंप दिया है।
श्रीमती वाड्रा ने आरोप लगाया कि जो रोजगार के अवसर थे, वह उनके खास उद्योगपतियों के पास चले गए। छोटे और मध्यम रोजगारों पर नोटबंदी थोप दी। लोगों को लाइनों में खड़ा किया गया। आज तक नहीं बता पाए कि काला धन कहां है। उन्होंने कहा कि गुजरात में जिसने पुल बनाया, उससे चंदा लिया। देश में जिसे काम दिया, उससे चंदा लिया। वैक्सीन की कंपनी से चंदा लिया। अब पता चल रहा है कि काला धन और नोटबंदी क्या थी। अब पता चला कि नोटबंदी का नुकसान कौन झेल रहा है। लोगों को नुकसान झेलना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि छोटे रोजगार करने वाले दुकानदार को खत्म कर दिया है। किसानों से जुड़ी खाद और संयंत्र पर जीएसटी देनी पड़ रही है। किसानों को बोझ से दबा दिया गया है।