मुंबई, (वेब वार्ता)। अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप के पारस्परिक टैरिफ लागू करने की योजना के खतरे से वैश्विक कारोबार में तनाव बढ़ने और बाजारों में अनिश्चितता गहराने की आशंका से सहमे निवेशकों की स्थानीय स्तर पर हुई चौतरफा बिकवाली से आज शेयर बाजार ढेर हो गया।
बीएसई के तीस शेयरों वाले संवेदी सूचकांक सेंसेक्स 548.39 अंक अर्थात 0.70 प्रतिशत की गिरावट लेकर 77,311.80 अंक और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) का निफ्टी 178.35 अंक यानी 0.76 प्रतिशत का गोता लगाकर 23,381.60 अंक रह गया। बीएसई की दिग्गज कंपनियों के मुकाबले मझौली और छोटी कंपनियों के शेयरों में अधिक बिकवाली हुई, जिससे मिडकैप 2.06 प्रतिशत लुढ़ककर 42,162.36 अंक और स्मॉलकैप 2.25 प्रतिशत कमजोर रहकर 49,034.88 अंक पर बंद हुआ।
इस दौरान बीएसई में कुल 4225 कंपनियों के शेयरों में कारोबार हुआ, जिनमें से 3032 में गिरावट जबकि 1070 में बढ़त रही वहीं 123 में कोई बदलाव नहीं हुआ। इसी तरह निफ्टी की 39 कंपनियां लाल जबकि 11 हरे निशान पर रही।
विश्लेषकों के अनुसार, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने शुक्रवार को घोषणा की थी कि वे सोमवार या मंगलवार तक पारस्परिक टैरिफ लागू करने की योजना बना रहे हैं। इस कदम का उद्देश्य उन आयातों पर टैरिफ लगाना है, जिन पर अमेरिकी निर्यात के मुकाबले समान दरें लागू होती हैं। ट्रम्प के इस निर्णय से वैश्विक व्यापार में तनाव बढ़ने और बाजारों में अनिश्चितता गहराने की संभावना है।
अमेरिकी राष्ट्रपति ने स्टील और एल्युमीनियम के आयात पर टैरिफ लगाने की चेतावनी दोहराई, जिसे मुद्रास्फीति बढ़ाने वाला कदम माना जा रहा है। इस फैसले से ब्याज दरों में कटौती की संभावनाएं सीमित हो सकती हैं। उच्च अमेरिकी दरें भारत जैसे उभरते बाजारों में विदेशी निवेशकों के लिए निवेश को कम आकर्षक बना सकती हैं, जिससे पूंजी प्रवाह प्रभावित होने की आशंका है। इन कारकों ने बाजार पर दबाव बनाया है।
इससे बीएसई के सभी 21 समूह गिरावट पर रहे। कमोडिटीज 1.89, सीडी 1.94, ऊर्जा 1.73, एफएमसीजी 0.61, वित्तीय सेवाएं 0.94, हेल्थकेयर 2.25, इंडस्ट्रियल्स 1.51, आईटी 0.90, दूरसंचार 1.46, यूटिलिटीज 2.49, ऑटो 1.46, बैंकिंग 0.24, कैपिटल गुड्स 1.12, कंज्यूमर ड्यूरेबल्स 2.61, धातु 2.63, तेल एवं गैस 1.85, पावर 2.42, रियल्टी 2.69, टेक 0.62, सर्विसेज 1.20 और फोकस्ड आईटी 0.83 प्रतिशत लुढ़क गया।
अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर तेजी का रुख रहा। इस दौरान ब्रिटेन का एफ़टीएसई 0.40, जर्मनी का डैक्स 0.04, जापान का निक्केई 0.04, हांगकांग का हैंगसेंग 1.84 और चीन का शंघाई कम्पोजिट 0.56 प्रतिशत मजबूत रहा।