नई दिल्ली, (वेब वार्ता)। दिल्ली विधानसभा में आज का दिन लोकतंत्र के इतिहास में स्वर्णिम अक्षरों में दर्ज होने लायक माना गया। स्वतंत्रता सेनानी और भारत की लोकतांत्रिक परंपराओं के महत्वपूर्ण स्तंभ विट्ठलभाई पटेल के केंद्रीय विधानसभा के पहले भारतीय स्पीकर बनने के 100 वर्ष पूरे होने के उपलक्ष्य में दो दिवसीय शताब्दी समारोह का आयोजन किया गया। इस अवसर पर केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह, केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू, दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता, उपराज्यपाल वी.के. सक्सेना और देशभर से आए कई राज्यों के विधानसभा अध्यक्ष एवं उपाध्यक्ष मौजूद रहे।
विशेष डाक टिकट जारी कर दी श्रद्धांजलि
कार्यक्रम के पहले दिन का मुख्य आकर्षण वह पल रहा जब केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने विट्ठलभाई पटेल को समर्पित विशेष डाक टिकट जारी किया। इसके साथ ही दिल्ली विधानसभा परिसर में एक विशेष प्रदर्शनी भी लगाई गई, जिसमें विट्ठलभाई पटेल के जीवन, संघर्ष और लोकतंत्र में उनके योगदान को प्रदर्शित किया गया।
अमित शाह ने कही महत्वपूर्ण बातें
अमित शाह ने सभा को संबोधित करते हुए कहा:
“आज के ही दिन महान स्वतंत्रता सेनानी विट्ठलभाई पटेल केंद्रीय विधानसभा के स्पीकर बने थे। उन्होंने गुलामी के कठिन दौर में भी लोकतंत्र को मजबूत बनाने का काम किया। विट्ठलभाई पटेल ने भारत की विधायी परंपराओं की नींव रखी और आज के लोकतंत्र को आकार दिया।”
अमित शाह ने आगे कहा कि गुजरात ने दो ऐसे भाई दिए जिन्होंने भारत के इतिहास को दिशा दी।
सरदार वल्लभभाई पटेल, जिन्होंने स्वतंत्रता आंदोलन में गांधीजी के साथ मिलकर काम किया और रियासतों का एकीकरण किया।
विट्ठलभाई पटेल, जिन्होंने विधान परंपराओं को स्थापित किया और भारतीय लोकतंत्र के मूलभूत ढांचे को मजबूत किया।
उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि सभी विधानसभाओं की लाइब्रेरी में महान अध्यक्षों की कही गई बातों को संग्रहित करना चाहिए और विट्ठलभाई पटेल पर आधारित प्रदर्शनी देश के हर विधानसभा में लगनी चाहिए।
केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू का बयान
केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने कहा:
“यह दो दिन का सत्र बेहद महत्वपूर्ण है। लोकतंत्र की नींव रखने वाले महान नेताओं के बारे में सोचना और उन्हें याद करना हमारी जिम्मेदारी है। संसद और विधानसभा को सही ढंग से चलाना बहुत जरूरी है, क्योंकि यही लोकतंत्र का मूल है।”
उन्होंने यह भी कहा कि संसद और विधानसभाओं की कार्यवाही को सुचारु रूप से चलाना आवश्यक है। विपक्ष की भूमिका आलोचना करना है, लेकिन सदन को बाधित करना लोकतंत्र के लिए सही नहीं है।
सीएम रेखा गुप्ता ने कहा – विट्ठलभाई पटेल ने ‘मदर ऑफ डेमोक्रेसी’ बनाने का काम किया
दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने कहा कि यह दिन भारत के लोकतंत्र के इतिहास का स्वर्णिम अध्याय है। उन्होंने कहा:
“100 साल पहले, ब्रिटिश काल में पहली बार किसी भारतीय मूल के व्यक्ति ने इस विधानसभा का अध्यक्ष बनने का गौरव प्राप्त किया। उस समय यह सपना था कि एक दिन भारत आजाद होगा और भारतीय अपने झंडे और संविधान की छाया में बैठकर नीति निर्माण करेंगे। विट्ठलभाई पटेल ने मदर ऑफ डेमोक्रेसी बनाने का काम किया।”
उन्होंने कहा कि विट्ठलभाई पटेल के निर्णयों की सभी सराहना करते थे और उनके जीवन से प्रेरणा लेकर आज भी लोकतंत्र को मजबूती दी जा रही है।
कार्यक्रम के अंत में, सभी नेताओं ने विट्ठलभाई पटेल की प्रतिमा पर पुष्पांजलि अर्पित की और उन्हें नमन किया। यह आयोजन न केवल लोकतंत्र की जड़ों को मजबूत करने की याद दिलाता है, बल्कि आने वाली पीढ़ियों को यह संदेश देता है कि लोकतंत्र की रक्षा और विकास हमारी सामूहिक जिम्मेदारी है।
माननीय केंद्रीय गृह मंत्री श्री @AmitShah जी की प्रेरणादायी उपस्थिति में आज दिल्ली विधानसभा से ‘ऑल इंडिया स्पीकर्स कॉन्फ्रेंस’ का शुभारम्भ हुआ है।
देशभर की विधानसभाओं एवं विधान परिषदों के अध्यक्षों, उपाध्यक्षों और सभापतियों का हार्दिक अभिनंदन।
यह ऐतिहासिक सम्मेलन श्रद्धेय… pic.twitter.com/guiO23SNhy
— Rekha Gupta (@gupta_rekha) August 24, 2025