वाराणसी/नई दिल्ली, (वेब वार्ता)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शनिवार को वाराणसी के बनौली पहुंचे, जहां उन्होंने एक विशाल जनसभा को संबोधित करते हुए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की सफलता को बाबा विश्वनाथ के चरणों में समर्पित किया।
इस अवसर पर पीएम ने पहलगाम आतंकी हमले के पीड़ित परिवारों को याद करते हुए भावनात्मक रूप से कहा कि उन्होंने “बेटियों के सिंदूर का बदला” लेने का वादा किया था, जो अब बाबा भोलेनाथ के आशीर्वाद से पूरा हुआ है।
🕉️ काशी से जुड़ाव और श्रद्धा: मोदी ने की हृदयस्पर्शी शुरुआत
पीएम मोदी ने अपने संबोधन की शुरुआत काशीवासियों को प्रणाम कर की। उन्होंने भावुक स्वर में कहा:
“नम: पार्वती पतये, हर-हर महादेव। सावन के पावन महीने में आज हमके काशी के हमरे परिवार के लोगन से मिलय का अवसर मिलल हय। हम काशी के हर परिवार जन के प्रणाम करत हईं।”
🔴 ऑपरेशन सिंदूर: “बेटियों के सिंदूर का बदला लिया”
प्रधानमंत्री ने कहा:
“22 अप्रैल को पहलगाम में आतंकियों ने 26 निर्दोष नागरिकों की नृशंस हत्या कर दी थी। वो बेटियाँ, वो बच्चे, उनके आंसू – सब मेरे हृदय को झकझोर रहे थे। तब बाबा विश्वनाथ से प्रार्थना की थी कि वो परिवार इस दुःख को सह सकें। और मैंने जो वचन दिया था – ‘बेटियों के सिंदूर का बदला’ – वो आज पूरा हुआ है।”
उन्होंने स्पष्ट किया कि यह नई सोच वाला भारत है जो अब “घुसकर मारता है”।
🛕 काशी में 2200 करोड़ के 52 प्रोजेक्ट्स का लोकार्पण
इस अवसर पर पीएम मोदी ने:
2200 करोड़ रुपए की लागत से बने 52 परियोजनाओं का उद्घाटन किया
PM-KISAN योजना की 20वीं किस्त (₹20,500 करोड़) जारी की
वाराणसी की ऐतिहासिक दालमंडी क्षेत्र में एक नए प्रोजेक्ट की आधारशिला रखी
🗣️ योगी आदित्यनाथ का बयान: “दुश्मनों को घर में घुसकर खत्म किया”
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पीएम का स्वागत करते हुए कहा:
“ऑपरेशन सिंदूर की सफलता के बाद पीएम का काशी आगमन ऐतिहासिक है। अब भारत पहले की तरह सहन नहीं करता। हम दुश्मन के घर में घुसकर करारा जवाब देते हैं।”
🔎 ऑपरेशन सिंदूर: क्या था पूरा मामला?
ऑपरेशन सिंदूर उस जवाबी सैन्य कार्रवाई का कोड नाम था, जो पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत सरकार ने गुप्त रूप से अंजाम दी। हमले में मारे गए लोगों में अधिकांश कश्मीरी पंडितों, आम नागरिकों व अमरनाथ यात्रा की तैयारी कर रहे श्रद्धालुओं की पहचान हुई थी।
इस हमले के बाद भारत सरकार ने एनआईए, सेना व रॉ के संयुक्त प्रयासों से आतंकियों के नेटवर्क को ध्वस्त किया।
📸 जनसभा की झलकियाँ:
मंच से “हर-हर महादेव” के उद्घोष ने माहौल को भक्तिमय बना दिया
पीएम मोदी का भावुक स्वर, तालियों की गड़गड़ाहट में बदल गया
महिला समर्थकों ने ‘बेटियों के सिंदूर’ के प्रतीक रूप में रक्षासूत्र बांधने की पहल की
🔚 निष्कर्ष:
प्रधानमंत्री मोदी का काशी में यह संबोधन केवल राजनीतिक नहीं, बल्कि भावनात्मक और राष्ट्रवादी दृष्टिकोण से अत्यंत महत्वपूर्ण रहा। ऑपरेशन सिंदूर की सफलता केवल सैन्य दृष्टि से नहीं, बल्कि एक सांस्कृतिक व भावनात्मक संकल्प की पूर्ति का भी प्रतीक बन गई है।