लंदन, (वेब वार्ता)। दुनिया में लालच किस हद तक इंसान को गिरा सकता है, इसका ताजा उदाहरण ब्रिटेन से सामने आया है। यहां एक सर्जन डॉक्टर नील हॉपर ने इंश्योरेंस के 6 करोड़ रुपए पाने के लिए अपने ही दोनों पैर काट दिए। इस सनसनीखेज और चौंकाने वाले मामले ने पूरे ब्रिटेन में लोगों को सकते में डाल दिया है।
🚨 खुद काटे अपने पैर, फिर रची झूठी बीमारी की कहानी
नील हॉपर ने दावा किया कि उसे सेप्सिस (Sepsis) नामक बीमारी हो गई थी, जिससे उसके दोनों पैर काटने पड़े। लेकिन अदालत में पेश हुए दस्तावेजों और सबूतों ने उसकी कहानी की पोल खोल दी। जांच में सामने आया कि हॉपर ने जानबूझकर अपने पैर काटे और फिर इंश्योरेंस कंपनियों से झूठा दावा किया।
💸 6 करोड़ का क्लेम, दो कंपनियों से ठगी की कोशिश
डॉ. हॉपर ने 3 जून और 26 जून, 2019 को दो अलग-अलग इंश्योरेंस कंपनियों से मिलकर करीब 5 लाख ब्रिटिश पाउंड (₹5.82 करोड़) का क्लेम किया। यह साजिश उसने 2018 से 2020 के बीच रची थी। उसने न केवल खुद को नुकसान पहुंचाया, बल्कि एक वेबसाइट से ऐसे वीडियो भी खरीदे, जो अंग काटने की प्रक्रिया को दिखाते थे और उसे मानसिक रूप से इसके लिए प्रेरित करते थे।
⚖️ अदालत में खुली पोल, मेडिकल लाइसेंस हुआ सस्पेंड
मामले के सामने आने के बाद 2023 में उसका मेडिकल प्रैक्टिस लाइसेंस सस्पेंड कर दिया गया। जांच में यह भी सामने आया कि हॉपर ने दूसरे व्यक्ति को भी इसी तरह के काम के लिए उकसाया था। अदालत में धोखाधड़ी और आपराधिक उकसावे के आरोपों में उसका मुकदमा चल रहा है।
🧠 “अब जिंदगी ज्यादा रोचक हो गई है” – डॉक्टर का बयान
सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि डॉक्टर हॉपर ने एक मीडिया इंटरव्यू में दावा किया कि उसके लिए पैर गंवाना जिंदगी का पॉजिटिव मोड़ था। उसने कहा, “अब मेरी जिंदगी ज्यादा रोचक और आत्म-साक्षात्कार से भरी हुई है।”
🌍 पूरे ब्रिटेन में मचा हड़कंप
यह मामला सामने आने के बाद ब्रिटेन की मेडिकल इंडस्ट्री और सोशल मीडिया में इसे लेकर बहस छिड़ गई है। क्या कोई सिर्फ पैसे के लिए इतना खतरनाक कदम उठा सकता है? क्या मानसिक स्वास्थ्य से जुड़े पहलुओं को नजरअंदाज कर दिया गया? इस घटना ने चिकित्सा पेशे की नैतिकता और सामाजिक जिम्मेदारी पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।