सुकमा, (वेब वार्ता)। छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित सुकमा जिले में सुरक्षा बलों को बड़ी सफलता मिली है। कोंटा थाना क्षेत्र में पुलिस, केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) और जिला रिजर्व गार्ड (DRG) की संयुक्त कार्रवाई में एक लाख रुपये के इनामी नक्सली को गिरफ्तार किया गया। आरोपी नक्सली 5 वर्षों से सक्रिय था और कोंटा एरिया कमेटी से जुड़ा हुआ था। गिरफ्तारी के दौरान उसके पास से विस्फोटक सामग्री और हथियार भी बरामद किए गए। यह कार्रवाई नक्सल विरोधी अभियान ‘प्रहार’ के तहत की गई, जो हाल के दिनों में नक्सलियों पर सख्ती बढ़ाने का हिस्सा है।
गिरफ्तार नक्सली की पहचान: कुंजाम मुका
गिरफ्तार नक्सली की पहचान कुंजाम मुका (उम्र 37 वर्ष) के रूप में हुई है। वह कोंटा एरिया कमेटी का सक्रिय सदस्य था और पिछले 5 वर्षों से विभिन्न नक्सली गतिविधियों में लिप्त था। पुलिस के अनुसार, मुका मतदान केंद्रों पर फायरिंग, हत्या और आईईडी विस्फोट जैसे अपराधों में शामिल था। उसके सिर पर छत्तीसगढ़ पुलिस ने 1 लाख रुपये का इनाम घोषित किया था।
जिले के पुलिस अधीक्षक विनीत धमोले ने बताया, “सुरक्षा बलों को खुफिया जानकारी मिली थी कि मुका कोंटा क्षेत्र में सक्रिय है। संयुक्त टीम ने घेराबंदी कर उसे गिरफ्तार किया। उसके पास से 2 आईईडी, 5 किलोग्राम विस्फोटक, एक एसएलआर राइफल और नक्सली लिटरेचर बरामद हुआ। पूछताछ में वह कई अन्य वारदातों का खुलासा कर रहा है।”
यह गिरफ्तारी जुलाई 2025 की कार्रवाई का हिस्सा लगती है, जब कोंटा और भेज्जी क्षेत्रों में 6 नक्सलियों को पकड़ा गया था, जिनमें से दो पर कुल 3 लाख रुपये का इनाम था। उस समय भी कुंजाम मुका सहित अन्य नक्सली मतदान केंद्रों पर हमले और हत्याओं में शामिल थे।
नक्सल विरोधी अभियान तेज: हालिया सफलताएं
सुकमा जिला छत्तीसगढ़ का सबसे अधिक नक्सल प्रभावित क्षेत्र है, जहां कोंटा एरिया कमेटी सक्रिय है। हाल के महीनों में सुरक्षा बलों ने कई सफल कार्रवाइयां की हैं:
- जुलाई 2025: कोंटा में 2 इनामी नक्सलियों समेत 6 गिरफ्तार।
- जून 2025: जगरगुंडा क्षेत्र में 1 हार्डकोर समेत 5 नक्सली पकड़े गए, एक पर 2 लाख इनाम।
- मई 2025: 18 नक्सलियों का आत्मसमर्पण, 11 पर 39 लाख इनाम।
पुलिस ने बताया कि ये कार्रवाइयां खुफिया तंत्र और ग्रामीणों के सहयोग से संभव हुईं। नक्सलियों के खिलाफ ‘नक्सल उन्मूलन अभियान’ तेज करने से आत्मसमर्पण और गिरफ्तारियां बढ़ी हैं।
यह गिरफ्तारी न केवल सुरक्षा बलों के लिए सफलता है, बल्कि कोंटा क्षेत्र में नक्सली गतिविधियों को कमजोर करने का संकेत भी। स्थानीय ग्रामीणों ने इसे सराहते हुए कहा कि इससे विकास कार्यों को गति मिलेगी।