कुशीनगर, (ममता तिवारी)। डीएम रमेश रंजन व सीडीओ गुंजन द्विवेदी ने मंगलवार को एसडीएम कप्तानगंज मोहम्मद जफर तथा बीडीओ कप्तानगंज प्रवीण कुमार शुक्ला समेत राजस्व विभाग की टीम के साथ 5 गांव के सीमा के बीच 101 एकड़ रकबा में फैले राज मंदिर ताल का निरीक्षण किया। इसका सुंदरीकरण कर पर्यटन और धार्मिक स्थल के रूप में विकसित करने की संभावनाएं तलाशी। डीएम ने इस दौरान खोटही स्थित मनी ताल में इन दिनों चल रही बोट मंगवा कर बोटिंग का ट्रायल कराया।
डीएम ने एसडीएम कप्तानगंज मोहम्मद जफर तथा बीडीओ कप्तानगंज प्रवीण कुमार शुक्ला को निर्देशित किया कि राजमंदिर ताल सुंदरीकरण के लिए मनरेगा तथा राज्य वित्त से फर्स्ट फेज में बंधे का चौड़ीकरण तथा पुलिया का निर्माण पूरी करें। एसडीएम ने इसके लिए नायब तहसीलदार कुंदन वर्मा के नेतृत्व में राजस्व टीम को गठित करते हुए निर्देशित किया है कि डीएम के निर्देशानुसार कार्य योजना को तैयार कर पूरा करें। कप्तानगंज ब्लाक के 5 गांव राजमंदिर, पिपरा माफी, मेहड़ा, बौलिया तथा पचार की सीमाओं के बीच स्थित राजमंदिर ताल का इतिहास पौराणिक तथा धार्मिक पृष्ठभूमि को समेटे हुए है। इस ताल की मछली का स्वाद तथा इसमें प्रवासी पक्षियों का आश्रय स्थल की विशेष चर्चा दूर-दूर तक होती है। बीडीओ प्रवीण कुमार शुक्ला ने बताया कि डीएम के निर्देशानुसार सर्वप्रथम राजमंदिर तथा पिपरा माफी साइड से रास्ते का निर्माण कराया जाएगा।
लोगों की जुबान पर मणि ताल में बोटिंग : कुछ माह पूर्व ही डीएम के निर्देश पर तत्कालीन एसडीएम रत्निका श्रीवास्तव द्वारा पूरी दिलचस्पी लेते हुए खोटही स्थित मणि ताल का सुंदरीकरण कराकर इसे पर्यटन स्थल के रूप में विकसित करने की योजना के तहत प्रारंभिक चरण में अतिक्रमण हटवाए जाने तथा बोटिंग शुरू कराए जाने की चर्चा लोगों के जुबान पर रही। गोरखपुर के रामगढ़ ताल की तरह भारी पैमाने पर तो नहीं पर काफी संख्या में लोग इन दिनों मणि ताल पर पहुंचकर बोटिंग का आनंद ले रहे हैं। सोशल मीडिया पर बोटिंग का पोस्ट डाल कर सुर्खियां बटोरने का ट्रेंड इन दिनों खूब चल रहा है।