ग्वालियर, 18 अक्टूबर (वेब वार्ता)। कॉलोनी में पार्क के लिए अधिकृत भूमि पर भू माफिया मंदिर बनाकर सीमा पर तैनात सिपाही के मकान की ओर जबरन दरबाजा बनाकर अतिक्रमण लिया है जबान के पिता ने प्रशासनसे लगाई गुहार लगाई है।
शहर की भिण्ड रोड़ से लगी यूनीपेच कंपनी बाली रोड़ पर गोला का मंदिर थाना अंतर्गत स्थिति कुंज बिहार कॉलोनी फेस.2 में एक परिवार निवास करता है जिसका मकान नं.230 है और उनके सिपाही देश की सीमा पर तैनात होकर हमारी सुरक्षा करने में लगे हुए है लेकिन ग्वालियर के कुंज बिहार कॉलोनी में उनके मकान की ओर मंदिर के नाम पर अतिक्रमण किया जा रहा है, जबकि मंदिर के सामने एक बड़ा सा पार्क है जहां मंदिर का दरबाजा किया जा सकता है, लेकिन ऐसा न करते हुए दबंग जबरन मंदिर की आड़ में अतिक्रमण करने में लगे हुए है जिसे हटवाने के लिए पीडि़त वासुदेव प्रसाद शर्मा निवासी 230 कुंज बिहारी कॉलोनी फेस-2 पुरानी रेलवे लाइन भिंड रोड ने स्थानीय थानेदार, पुलिस अधीक्षक, कमिशनर आदि को लिखित आवेदन देकर अतिक्रमण हटाने के लिए गुहार लगाई, जहां अफसरों ने भी कार्यवाही करने का आश्वासन दिया है।
पीडि़त युवक ने वरिष्ठ अधिकारियों से गुहार लगाते हुए बताया कि उनके बच्चे और महिलाएं अकेले घर पर रहते है और मकान के सामने सरकारी पार्क की जगह है। जिसमें मंदिर के नाम पर विद्यासागर शर्मा निवासी कुन्ज बिहारी कालोनी फैश.2 के द्वारा अतिक्रमण कर रहा है जिसे रुकवाने के लिए गुहार लगाई है। पीडि़त युवक का कहना है कि उसे मंदिर बनाने से कोई आपत्ति नहीं लेकिन दरवाजा निज निवास की तरफ न करते हुए पार्क की तरफ में ही किया जावे जिससे मंदिर में आने जाने व बैठने वालों से प्रार्थी के बच्चे व महिलाओं को संकोच न हो क्योंकि मंदिर में कोई भी दिन या रात को बैठ सकता है।
इसलिए दरवाजा पार्क की तरफ ही होना चाहिए ताकि पार्क की साफ. सफाई भी रहेगी और कोई धार्मिक कार्य जैसे रामायण, कन्या ब्राहाण, हवन पूजन व भागवत कथा करने के लिए मंदिर के समाने जगह भी पर्याप्त रहेगी। पीडि़त का कहना है कि ग्वालियर कुंजविहार कॉलोनी फेस 2 में नगर निगम की ओर से छोडी गई पार्क पर विद्यासागर शास्त्री राजकुमार परमार, महेश परसरिया, हरी ओम शर्मा और विजय बरुआ के द्वारा गैर कानूनी अतिक्रमण मंदिर के नाम पर किया जा रहा हैं। ग्वालियार शहर के अंदर लोगो को थोड़ी सी जगह दिखाई दे वही पर भगवान की मूर्ति बिठा देते हैं। यह सिलसिला कई दिनों से चला आ रहा हैं। भगवान या देवी के नाम पर अतिक्रमण करना भी एक अपराध हैं।
पीडि़त ने अफसरों को बताया कि इस प्रकार से भगवान के नाम पर अपना कब्जा करना भी अपराध हैं, जबकि कॉलोनी का मंदिर सुनिश्चित जगह पर पीछे ही बना हुआ हैं और पार्क सार्वजनिक बच्चे खेलने के लिए छोडा गया था। उसमे मंदिर बनाने की क्या जरूरत हैं। अगर दान धर्म ही करना हैं तो कॉलोनी के बड़े मंदिर में भी किया जा सकता हैं। दूसरा मंदिर बनाने की क्या जरूरत है। इसलिए अफसरों से गुहार लगाते हुए कहा कि कॉलोनी में दो मंदिर न बनाए जाए। 100 मीटर की दूरी में दो मंदिर की क्या जरूरत पड़ गई। इसलिए पार्क के बाउंड्री करा कर बच्चो के खेलने के लिए पार्क ही रखा जाए। नहीं तो यह गुंडा गर्दी दादागिरी से कॉलोनी में विवाद फैलने की संभावना जाहिर की है और तुरंत मंदिर के नाम पर जो अतिक्रमण किया जा रहा है उसे रोकने के लिए आग्रह किया है जिस पर वरिष्ठ अधिकारियों ने कार्यवाही करने की बात कही है।