रियाद, (वेब वार्ता)। 2 अगस्त 2027 को लगने वाला सूर्य ग्रहण विज्ञान और खगोल प्रेमियों के लिए एक ऐतिहासिक क्षण साबित होगा। इसे “सदी का सूर्य ग्रहण” कहा जा रहा है क्योंकि यह 1991 के बाद का सबसे लंबा पूर्ण सूर्य ग्रहण होगा, जिसकी अवधि 6 मिनट 22 सेकंड रहेगी।
हालांकि इस खगोलीय घटना को लेकर सोशल मीडिया पर कई भ्रामक दावे भी फैल रहे हैं, जैसे कि “पूरी पृथ्वी पर अंधेरा छा जाएगा” — वैज्ञानिकों ने इन दावों को पूरी तरह खारिज कर दिया है।
किन-किन देशों में दिखेगा सूर्य ग्रहण?
यह ग्रहण पूर्ण रूप से निम्नलिखित देशों में दिखाई देगा:
स्पेन
मोरक्को
ट्यूनीशिया
मिस्र
सऊदी अरब
यमन
सोमालिया
वहीं, यूरोप, अफ्रीका के कुछ हिस्सों, और दक्षिण एशिया में यह आंशिक रूप से देखा जा सकेगा।
❗ भारत के अधिकांश हिस्सों में यह सूर्य ग्रहण नहीं दिखाई देगा।
क्या सच में पूरी धरती पर अंधेरा छा जाएगा?
नहीं। यह एक मिथक है। पूर्ण सूर्य ग्रहण का प्रभाव केवल पृथ्वी के कुछ चुनिंदा हिस्सों पर ही होता है। पूरी दुनिया पर एक साथ अंधकार नहीं छा सकता। वैज्ञानिकों ने स्पष्ट किया है कि यह केवल सौर रेखा (Path of Totality) में आने वाले स्थानों से ही स्पष्ट रूप से देखा जा सकता है।
कितना लंबा रहेगा यह सूर्य ग्रहण?
ग्रहण की अवधि: 6 मिनट 22 सेकंड
1991 के बाद सबसे लंबा पूर्ण सूर्य ग्रहण
तुलना के लिए: 8 अप्रैल 2024 को अमेरिका में जो पूर्ण सूर्य ग्रहण हुआ था, वह केवल 4 मिनट 28 सेकंड लंबा था।
कहाँ जाएँ इस अद्भुत दृश्य को देखने?
टूरिज्म और खगोल प्रेमियों के लिए ये स्थान इस अद्भुत नज़ारे को देखने के लिए सर्वश्रेष्ठ माने जा रहे हैं:
लक्सर, मिस्र (Luxor, Egypt)
ट्यूनीशिया का तटीय इलाका
इन स्थानों पर स्पष्ट, बादल रहित आकाश और प्रत्यक्ष सूर्य दृश्यता के कारण ये आदर्श स्पॉट माने जा रहे हैं।
सूर्य ग्रहण कैसे देखें? सुरक्षा सावधानियाँ
सूर्य ग्रहण को कभी भी नंगी आंखों से नहीं देखें।
इसके लिए केवल सर्टिफाइड सोलर फिल्टर चश्मा या सोलर व्यूइंग ग्लासेस का उपयोग करें।
नकल या लोकल स्तर पर बने चश्मे आंखों को क्षति पहुँचा सकते हैं।
कैमरा या स्मार्टफोन से ग्रहण देखने के लिए भी प्रॉपर सोलर लेंस का इस्तेमाल करें।
क्या यह 100 साल का सबसे लंबा ग्रहण है?
नहीं। यह दावा गलत है। 2027 का यह सूर्य ग्रहण 87 वर्षों में सबसे लंबा होगा, लेकिन यह 100 वर्षों का सबसे लंबा ग्रहण नहीं है।
विज्ञान और जागरूकता: अफवाहों से बचें
इस तरह के खगोलीय घटनाओं के दौरान अंधविश्वास, भ्रामक दावे, और सोशल मीडिया अफवाहें तेज़ी से फैलती हैं। वैज्ञानिक समुदाय और अंतरराष्ट्रीय खगोल संस्थानों ने साफ किया है:
यह कोई “महाविनाशकारी” घटना नहीं है।
यह एक सामान्य खगोलीय घटना है, जो प्राकृतिक नियमों के तहत होती है।
इसे धार्मिक भय, अंधविश्वास, या भविष्यवाणी से जोड़ना निराधार है।
खगोलीय फोटोग्राफी के लिए अवसर
यह सूर्य ग्रहण खगोल फोटोग्राफरों और विज्ञान संचारकों के लिए भी एक सुनहरा अवसर है। लंबी अवधि होने की वजह से:
समय रहते उपकरण सेट किए जा सकते हैं।
बेहतर फ्रेम और शॉट कैप्चर करने का समय मिलेगा।
लाइव प्रसारण और सोशल मीडिया कवरेज भी संभव है।