हरदोई, लक्ष्मीकान्त पाठक (वेब वार्ता)। हरदोई जिले में राष्ट्रीय फाइलेरिया उन्मूलन कार्यक्रम के अंतर्गत 10 से 28 अगस्त 2025 तक सर्वजन दवा सेवन (IDA) अभियान चलाया जाएगा। इस अभियान का लक्ष्य जनपद के 15 विकास खंडों और शहरी क्षेत्र की लगभग 39 लाख आबादी को फाइलेरिया से बचाव हेतु दवा देना है।
डीएम का निर्देश — “कोई भी लक्षित व्यक्ति दवा से वंचित न रह जाए”
सोमवार को विवेकानंद सभागार में आयोजित जिला समन्वयन समिति की बैठक में जिलाधिकारी अनुनय झा ने सभी विभागों से अभियान में संपूर्ण समन्वय और सक्रिय सहयोग की अपील की। उन्होंने कहा कि मलिन बस्तियों, बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों और दूरस्थ इलाकों में विशेष ध्यान देते हुए यह सुनिश्चित किया जाए कि हर लक्षित व्यक्ति को दवा मिले।
अभियान किन क्षेत्रों में चलेगा?
फाइलेरिया उन्मूलन अभियान उन 15 ब्लॉकों में चलाया जाएगा, जहां माइक्रोफाइलेरिया दर 1% से अधिक पाई गई है: अहिरौरी, बावन, भरखनी, भरावन, बिलग्राम, हरियावां, हरपालपुर, कोथावां, माधौगंज, मल्लावां, पिहानी, सांडी, संडीला, टोडरपुर, टड़ियावां, और हरदोई नगर क्षेत्र
3437 टीमें और 615 सुपरवाइज़र होंगे तैनात
इस अभियान के संचालन के लिए 3437 टीमों और 615 सुपरवाइज़रों की नियुक्ति की गई है। अभियान में एल्बेंडाजोल, डाईइथाइलकार्बामजीन (DEC) और आइवरमेक्टिन दवाएं दी जाएंगी।
आशा कार्यकर्ता देंगी दवा — घर-घर जाकर
दवा आशा कार्यकर्ता घर-घर जाकर अपनी निगरानी में खिलाएंगी। किसी को भी दवा हाथ में देकर नहीं दी जाएगी। दवा खाली पेट नहीं लेनी है।
किन्हें नहीं दी जाएगी दवा?
1 वर्ष से कम आयु के बच्चों
गर्भवती महिलाओं
गंभीर बीमारियों से ग्रसित लोगों को
1 से 2 वर्ष के बच्चों को एल्बेंडाजोल की आधी गोली पीसकर दी जाएगी। सभी को दवा चबाकर या पीसकर ही लेनी है।
दवा के बाद लक्षण?
यदि किसी को दवा के बाद चक्कर, उल्टी, मितली या थकान जैसे लक्षण हों, तो घबराएं नहीं। ये संकेत हैं कि शरीर में फाइलेरिया के कीटाणु मर रहे हैं, जो उपचार की सफलता दर्शाते हैं।
बैठक में शामिल रहे विभाग और संस्थाएं
बैठक में मुख्य विकास अधिकारी सान्या छाबड़ा, अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. सुरेंद्र सिंह, सूचना विभाग, शिक्षा, पंचायतीराज, आईसीडीएस, खाद्य सुरक्षा, और अल्पसंख्यक विभाग के अधिकारी उपस्थित रहे। इसके अलावा WHO, यूनिसेफ, PATH, PCI, C-FAR जैसी संस्थाओं के प्रतिनिधि भी मौजूद थे।