हमने दुनिया को युद्ध नहीं बुद्ध दिया है : पीएम नरेंद्र मोदी
संयुक्त राष्ट्र/नई दिल्ली, 28 सितंबर (वेबवार्ता)। संयुक्त राष्ट्र संघ में पीएम नरेंद्र मोदी ने बुद्ध, स्वामी विवेकानंद और महात्मा गांधी की विरासत का जिक्र कर दुनिया से आतंक के खिलाफ निपटने का आह्वान किया। एक तरफ पीएम मोदी ने अपने संबोधन में भारत के शांतिपूर्ण सहअस्तित्व की परंपरा की बात कही तो वहीं पाकिस्तान के पीएम इमरान खान दुनिया को परमाणु युद्ध की धमकी देते नजर आए। दोनों नेताओं के भाषण के बीच का यही अंतर था कि पीएम नरेंद्र मोदी ने भारत को वैश्विक लीडर के तौर पर पेश किया, जबकि पाक पीएम कश्मीर पर प्रॉपेगैंडा चलाते हुए निजी हमले करते रहे।
विश्व के सबसे बड़े लोकतंत्र का, आज भी अंतरराष्ट्रीय समुदाय के लिए यही संदेश है, जो स्वामी विवेकानंद ने वर्षों पहले दिया था – सद्भावना और शांति। pic.twitter.com/yVWTKiQYpL
— Narendra Modi (@narendramodi) September 27, 2019
वैश्विक मंच से पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा, ‘आतंकवाद के खिलाफ पूरी दुनिया का एकजुट होना जरूरी है। बिखरी हुई दुनिया किसी के भी हित में नहीं है। हमारे पास न तो अपनी सीमाओं में सिमटने का विकल्प है। हमें संयुक्त राष्ट्र को नई शक्ति और नई दिशा देनी ही होगी।’ इसके साथ ही उन्होंने स्वामी विवेकानंद का जिक्र करते हुए कहा, ‘सवा सौ साल स्वामी विवेकानंद ने विश्व धर्म संसद से दुनिया को एक संदेश दिया था। यह संदेश था, सद्भाव और शांति। भारत की ओर से आज भी दुनिया के लिए यही संदेश है।’ पीएम मोदी ने अपनी बात की शुरुआत महात्मा बुद्ध के संदेश से की और अंत शिकागो में विवेकानंद के दिए मंत्र शाति और सद्भाव के मंत्र से किया। इस तरह वह वैश्विक मंच पर पाकिस्तान का जिक्र किए बिना आतंकवाद पर बड़ी लकीर खींच गए।
हम उस देश के वासी हैं, जिसने दुनिया को युद्ध नहीं बुद्ध दिए हैं, शांति का संदेश दिया है। pic.twitter.com/tVTy7gyvX7
— Narendra Modi (@narendramodi) September 27, 2019
पीएम मोदी ने कहा कि सवाल यह है कि आखिर नए भारत में तेजी से बदलाव कैसे आ रहे हैं। भारत हजारों साल पुरानी एक संस्कृति है, जिसकी अपनी जीवंत परंपराएं हैं। हमारे संस्कार, हमारी संस्कृति जीव में शिव में देखती है। इसलिए हमारा प्राण तत्व है, जनभागीदारी से जनकल्याण। यही नहीं हम जन कल्याण से जग कल्याण तक की बात करते हैं। हालांकि पाकिस्तानी पीएम इमरान खान ने कूटनीतिक लहजे का भी ख्याल न रखते हुए अपने भाषण में पीएम नरेंद्र मोदी पर भी निजी हमले किए। यही नहीं इमरान खान ने सीधे तौर पर भारत का जिक्र करते हुए तमाम झूठे आरोप भी लगाए। कश्मीर में इमरान ने 55 दिनों से कर्फ्यू लगा होने का पूरी तरह से झूठा वादा किया। इससे भी आगे बढ़ते हुए इमरान ने उन्मादी भाषण देते हुए कहा कि कश्मीर में जो हो रहा है, वह मुस्लिमों को हथियार उठाने के लिए प्रेरित करने वाला है। यही नहीं कश्मीर के अपने प्रॉपेगैंडे को उन्होंने इस्लामिक दुनिया से भी जोड़ते हुए कहा कि इसका असर दुनिया के 1.3 अरब मुसलमानों पर भी होगा। बता दें कि इससे पहले भी इमरान खान ने अपने देश की संसद और कई अन्य मौकों पर इसी तरह की बातें कही थीं।
If we are to look at Per Capita Emissions, India’s role in furthering global warming has always been historically low. Yet, we have taken the lead when it comes to harnessing renewable resources.
India is also at the forefront of building consensus on disaster management. pic.twitter.com/Bemek6kUyL
— Narendra Modi (@narendramodi) September 27, 2019
इमरान खान ने कहा कि आप सोचें कि यदि कोई देश अपने पड़ोसी देश के मुकाबले 7 गुना छोटा है तो फिर उसके सामने क्या विकल्प है। खुद को सरेंडर करना या फिर लड़ते हुए मरना। हम लड़ने का रास्ता अख्तियार करेंगे।’यदि किसी भी समुदाय के लोगों को इस तरह से बंधक बनाया जाएगा तो उस कम्युनिटी के लोग क्या सोचेंगे। यही नहीं इमरान खान ने कहा कि ऐसी स्थिति में वह खुद भी हथियार उठा लेते। कश्मीर पर भाव न मिलने से खिसियाए पाक पीएम ने कहा कि 1.3 अरब लोगों में से कुछ लोग हथियार उठा लेंगे। ऐसा इस्लाम के चलते नहीं होगा बल्कि मुस्लिमों के साथ अन्याय के चलते होगा।
संयुक्त राष्ट्र में प्रधानमंत्री मोदी के भाषण की 10 बड़ी बातें…
1- महात्मा गांधी की 150वीं जयंती
पीएम मोदी ने अपने भाषण की शुरुआत महात्मा गांधी को याद करते हुए की। उन्होंने कहा, ‘मेरे लिए गौरव का अवसर है कि संयक्त राष्ट्र महासभा के 74वें सत्र को 130 करोड़ भारतीयों की तरफ से संबोधित कर रहा हूं। यह अवसर इसलिए भी विशेष है क्योंकि इस वर्ष पूरा विश्व महात्मा गांधी की 150वीं जयंत मना रहा है। उनका सत्य और अहिंसा का संदेश आज भी दुनिया के लिए प्रासंगिक है।’
इस वर्ष दुनिया का सबसे बड़ा चुनाव हुआ। दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र में, दुनिया में सबसे ज्यादा लोगों ने वोट देकर, मुझे और मेरी सरकार को पहले से ज्यादा मजबूत जनादेश दिया।
इस जनादेश से ही आज फिर मैं UN में हूं।
लेकिन इस जनादेश से निकला संदेश और भी बड़ा, व्यापक और प्रेरक है। pic.twitter.com/IJSyMvStRB
— Narendra Modi (@narendramodi) September 27, 2019
2- भारत ने युद्ध नहीं, बुद्ध दिया
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि भारत ने दुनिया को युद्ध नहीं बल्कि बुद्ध दिया है। पीएम ने कहा कि यूएन में शांति के लिए सबसे बड़ा बलिदान अगर किसी देश ने दिया है तो यह देश भारत है। उन्होंने कहा, ‘हम उस देश के वासी हैं जिसने दुनिया को युद्ध नहीं बुद्ध दिए हैं। शांति का संदेश दिया है।’
3- आतंक को लेकर कड़ा रुख
पीएम मोदी ने कहा कि भारत विश्व बंधुत्व का संदेश देता है और इसीलिए हमारी आवाज में आतंक के खिलाफ दुनिया को सतर्क करने की गंभीरता भी है और आक्रोश भी। उन्होंने कहा, ‘हम मानते हैं कि यह किसी एक देश की नहीं बल्कि पूरी दुनिया की और मानवता की सबसे बड़ी चुनौतियों में से एक है। आतंक के नाम पर बंटी हुई दुनिया उन सिद्धांतों को ठेस पहुंचाती है जिनके आधार पर यूएन का जन्म हुआ और इसलिए मानवता की खातिर आतंक के खिलाफ पूरे विश्व का एकमत होना मैं अनिवार्य समझता हूं।’
4- दुनिया का सबसे बड़ा स्वच्छता अभियान
पीएम मोदी ने स्वच्छता अभियान का जिक्र करते हुए कहा कि यह दुनिया का सबसे बड़ा स्वच्छता अभियान है। उन्होंने कहा, ‘दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र में दुनिया में सबसे ज्यादा वोट देकर मुझे और मेरी सरकार को पहले से ज्यादा मजबूत जनादेश दिया। इसीलिए आज मैं फिर आप सब के बीच हूं। इस जनादेश से निकला संदेश इससे भी बड़ा व्यापाक और प्रेरक है।’ उन्होंने कहा, ‘जब एक विकासशील देश दुनिया का सबसे बड़ा स्वच्छता अभियान सफलतापूर्वक संपन्न करता है तो उसके साथ बनी व्यवस्थाएं पूरी दुनिया को प्रेरक संदेश देती हैं। भारत ने पांच साल में 11 करोड़ टॉइलट बनवाकर लोगों को दिए।’
5- तय समय से पहले टीबी को खत्म करने का संकल्प
पीएम मोदी ने कहा कि भारत हर साल 50 करोड़ लोगों को स्वास्थ्य की सुविधा देता है। उन्होंने कहा, ‘विश्व ने टीबी को खत्म करने के लिए 2030 तक का लक्ष्य रखा है लेकिन हम 2025 तक भारत को टीबी मुक्त करने के लिए प्रयास कर रहे हैं।’
6 – इन दो महापुरुषों का जिक्र
प्रधानमंत्री ने अपने भाषण के दौरान बुद्ध और गांधी के अलावा दो और महापुरुषों का जिक्र किया है। उन्होंने कहा, ‘आज से 3000 साल पहले तमिल कवि कणियन पूकुन्रनार ने कहा था, यादम उरे, यावरुम केड़ीर यानी हम सभी स्थानों के लिए अपनेपन का भाव रखते हैं और सभी लोग हमारे अपने हैं। यह तीन हजार साल पहले की बात है। देश की सीमाओं से परे अपनत्व की यही भावना भारत की विशेषता है।’ उन्होंने कहा कि स्वामी विवेकानंद ने भी शिकागों के धर्म सम्मेलन में ‘हॉर्मनी ऐंड पीस’ की बात की थी। आज भी विश्व के सबसे बड़े लोकतंत्र की तरफ से विश्व को यही संदेश है।
7- सिंगल यूज प्लास्टिक रोकने पर बड़ा अभियान
पीएम मोदी ने कहा कि उन्होंने वहां दीवार पर सिंगल यूज प्लास्टिक को रोकने की बात पढ़ी। उन्होंने कहा, ‘मुझे खुशी हो रही है कि इस वक्त हम पूरे भारत को सिंगल यूज प्लास्टिक से मुक्त करने के लिए बड़ा अभियान चला रहे हैं।’
8- जल, सड़क और मकान के लिए बड़ा अभियान
पीएम मोदी ने कहा, ‘आने वाले पांच वर्षों में हम अपने दूर दराज के इलाकों में जल संरक्षण को बढ़ावा देने के साथ 15 करोड़ घरों को पानी की सप्लाइ से जोड़ने वाले हैं। आने वाले वर्षों में हम सवा लाख किलोमीटर से ज्यादा नई सड़कें बनाने जा रहे हैं। 2022 तक जब भारत स्वतंत्रता का 75वां पर्व मनाएगा तो हम गरीबों के लिए 2 करोड़ घर बनाने वाले हैं।’
9- ग्लोबल वॉर्मिंग और सोलर एनर्जी को लेकर गंभीर
पीएम मोदी ने कहा कि ग्लोबल वॉर्मिंग में भारत का बहुत कम योगदान है बावजूद इसके भारत इसे रोकने के लिए आवश्यक कदम उठा रहा है। उन्होंने कहा, ‘हम 450 गीगा वॉट रिनेवेबल एनर्जी की दिशा में काम कर रहे है। भारत ने सीडीआरआई बनाने की पहल की है। इससे ऐसे इन्फ्रास्ट्रक्चर बनाने में मदद मिलेगी जिनपर प्राकृतिक आपदाओं का प्रभाव कम से कम होगा। विश्व स्तर पर भी हम सोलर एनर्जी को प्रोत्साहित करने का काम कर रहे हैं।’
10- विश्व बंधुत्व का ध्येय
पीएम मोदी ने कहा, ‘हमारी प्रेरणा है सबका साथ सबका विकास सबका विश्वास। यह सिर्फ भारत की सीमाओं में सीमित नहीं है बल्कि हमारे परिश्रम में न दया भाव है न दिखावा। यह कर्तव्य भाव से प्रेरित है। ये प्रयास जिन सपनों के लिए हो रहे हैं वे सारे विश्व के हैं और हर देश के हैं। हर समाज के हैं। प्रयास हमारे हैं और परिणाम सभी के लिए हैं। मेरा यह विश्वास दिनों दिन और भी दृढ़ हो जाता है जब मैं उन देशों के बारे में सोचता हूं जो विकास के लिए अपने अपने स्तर पर प्रयास कर रहे हैं।